सरयू की दियारा में सूख रहा परवल, नहीं पहुंच रहे व्यापारी

सोनू दूबे की रिपोर्ट
कुदरहा, बस्ती। सरयू की दियारा परवल की खेती के लिये प्रसिद्ध है। इसकी उपज बेच कर शादी विवाह व बच्चों के पढ़ाई लिखाई कराते है। सरयू नदी के किनारे रेत में हजारों किसानों का मुख्य खेती हैै। यहां परवल तैयार है लेकिन लॉकडाउन के चलते खेतों तक व्यापारी नहीं पहुंच पा रहे है। कुछ पहुंच भी रहे है तो औनेपौने दामों पर खरीद रहे है। बेबस हो कर किसान बेचने को मजबूर है। रामपुर से कलवारी तक 12 किमी की लंबाई में बड़े पैमाने पर हजारों बीघे जमीन पर खेती होती है। इसी खेती के आय से किसान अपने लड़की के हाथ पीला करने के साथ ही साथ घर की खर्च चलाते हैै। लेकिन बिक्री न होने से खेतों में परवल खराब हो रहा है।
किसान नहें, सुभग, राम बेलास, कपिल देव संतबली, रामहित, अलगू, तीरथ सहित तमाम किसानों ने बताया कि लॉकडाउन के कारण व्यापारी नहीं आ रहे है और न ही साप्ताहिक बाजार ही लग रहा है। यहां तक कि शादी समारोह पर भी पाबंद लग गया है। जिससे पलवल सूख रहै और भर्ती भी डूब जा रहा है। कुछ व्यापारी आ भी रहे है तो 20 रुपया किलों मांग रहे है। मजबूरन इतने में ही बेचना भी पड़ रहा है। पिछले वर्ष 60 से 70 रुपये किलों बिक रहा था। हालत यह है कि रामपुर से कलवारी तक हजारों बीघे में पलवर के खेती का जाल फैला हुआ हैै। माझा क्षेत्र के किसानों का मुख्य खेती हैै। किसानों ने बताया कि व्यापारियों के न आने से खेत में ही परवल पक कर खराब हो जा रहा हैै। हालत यह हैै कि यहीं हाल रहा तो भर्ती निकलना दूर रोटी के भी लाले पड़ जायेगें।
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सोनू दूबे की रिपोर्ट कुदरहा, बस्ती। सरयू की दियारा परवल की खेती के लिये प्रसिद्ध…